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रिश्ते

चलती रही हवाएं ,
अब इन्हें रोक पाए कौन भला

भरी थी जो गुरुर दिल मे,
अब इन्हें अपनाए कौन भला

मिलते हैे हर राह पर स्वार्थी,
पर इन्हें समझाए कौन भला

अहमियत होती क्या है रिश्तों की,
अब इनको सिखलाए कौन भला

ये तो ज़िन्दगी को भी कठपुतली समझती है
पर वक्त की कीमत इन्हें बतलाए कौन भला

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